Hello Pals!!
My name is Prateek Sharma and this is my first blog!!
My name is Prateek Sharma and this is my first blog!!
I love to talk about Technology, Digitization, Internet,Marketing and Businesses. Though i am an entrepreneur at mind but current situation of the world brings out my humanity at heart ! Let me start my blogging journey about my thoughts on current issue faced by entire world which is a virus.
As we have
Corona-virus Pandemic Going around the Globe, i felt like sharing my views about
it.
We (Human Civilization) are all in
a Pandemic which most of us have not seen in our lifetime. As much as it
spreads and affects people around globe, i feel how far we have come as Developed Civilization/Nations. We have all the latest technology at our hand in almost
every field, yet it just takes a small virus for the nature to show us where we
actually stand in this Universe.
I feel we have ignored Nature
or taken it for granted in our quest for better life by being selfish over the
years. It is a way
where the cosmos is telling us to let go of our ego as we are nothing in front of it. It is time where
humanity should end cut throat competitions, jealously and become more co-operative. It is time when we stop looking at things in isolation and become more united than ever with each other and with nature.
I wish when this pandemic ends, we are changed for better!!
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Hindi Translation:-
लॉक-डाउन के तहत दुनिया! प्रौद्योगिकी बनाम प्रकृति:-
नमस्ते दोस्तों!
मेरा नाम प्रतीक शर्मा है और यह मेरा पहला ब्लॉग है !!
मेरा नाम प्रतीक शर्मा है और यह मेरा पहला ब्लॉग है !!
हालाँकि मैं दिमाग से एक उद्यमी हूँ लेकिन दुनिया की वर्तमान स्थिति मेरे ह्रदय में बसी मानवता को उजागर कर रही है ! मुझे अपने ब्लॉगिंग के सफर की शुरुआत इस विपदा पर अपने विचारों से करनी चाहिए, जो इस समय पूरी दुनिया के सामने है।
जैसा कि हमारे आसपास कोरोना-वायरस महामारी चल रही है, मुझे ऐसा लगा कि मैं इसके बारे में अपने कुछ विचार साझा करू ।
हम (मानव सभ्यता) सभी एक महामारी में हैं, जो हम में से अधिकांश ने अपने जीवनकाल में नहीं देखी है। जितना यह फैलता है और दुनिया भर के लोगों को प्रभावित करता है, मुझे लगता है कि हम विकसित सभ्यता / राष्ट्र के रूप में आखिर कितना आगे आ गए हैं। हमारे पास लगभग हर क्षेत्र मे नवीनतम तकनीक है, फिर भी प्रकृति को हमे अपनी असलियत दिखाने के लिए एक छोटा सा वायरस चाहिए और हम वास्तव में इस ब्रह्मांड में कहाँ खड़े हैं हमे इसका पता चल जाना चाहिए ।
मानव की सभी प्रगति के बाद भी , हमने जो तकनीक विकसित की है, जो अर्थव्यवस्था हमने बनाई है, जो शिक्षा हमें मिली है, वह अभी भी पर्याप्त नहीं है और तब तक पर्याप्त नहीं होगी , जब तक हम कुछ गंभीर बातों पर विचार नहीं करेंगे ।
मुझे लगता है कि हमने प्रकृति को नजरअंदाज कर दिया है या वर्षों से स्वार्थी होकर बेहतर जीवन की तलाश में इसे भूल गए हैं । यह वायरस प्रकृति का एक ऐसा तरीका है जहां शायद ब्रह्मांड हमें अपने अहंकार को दूर करने के लिए कह रहा है क्योंकि हम इसके सामने कुछ भी नहीं हैं। यह समय है जब मानवता को गला काट प्रतियोगिताओं को समाप्त करना चाहिए, ईर्ष्या को ख़तम करना चाहिए और अधिक सहकारी बनना चाहिए। यह समय है जब हम अलगाव में चीजों को देखना बंद कर दें और एक दूसरे के साथ और प्रकृति के साथ पहले से अधिक एकजुट हो जाएं ।
काश जब ये महामारी खत्म हो तो हम बेहतर के लिए बदल जाएं !!
Very well written, but it will take some time fo humanity to act sane again
ReplyDeleteYes we have really ignored nature
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